उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर का चर्चित छात्र थप्पड़ कांड मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने आरोपी महिला टीचर को अग्रिम जमानत देने से इनकार किया है. आरोपी टीचर ने स्कूल के छात्र से अपने ही सहपाठी को थप्पड़ लगवाए थे और सांप्रदायिक टिप्पणी की थी. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर अगस्त 2023 में वायरल हुआ था. यह मामला सुप्रीम कोर्ट में पहुंचा था. 10 नवंबर 2023 को सुप्रीम कोर्ट ने पीड़ित बच्चे की काउंसलिंग के लिए एक एजेंसी नियुक्त करने के अपने आदेश का पालन नहीं करने पर राज्य सरकार को फटकार भी लगाई थी.
मुजफ्फरनगर के नेहा पब्लिक स्कूल की आरोपी प्रिंसिपल तृप्ता त्यागी ने अग्रिम जमानत के लिए जमानत याचिका दाखिल की थी. उसपर स्कूल के छात्रों से एक मुस्लिम छात्र को थप्पड़ मारने के लिए कहने और उसके खिलाफ सांप्रदायिक गालियां देने का आरोप है. आरोपी प्रिंसिपल के खिलाफ मुजफ्फरनगर के मंसूरपुर थाने में पिछले साल आईपीसी की धारा 323, 504, 295 (ए) और किशोर न्याय अधिनियम की धारा 75 के तहत मामला दर्ज हुआ था.
हाई कोर्ट ने जमानत देने से किया इनकार
अक्टूबर में मुजफ्फरनगर कोर्ट द्वारा अग्रिम जमानत याचिका खारिज किए जाने के बाद आरोपी टीचर ने इलाहाबाद हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. इलाहाबाद हाई कोर्ट की जस्टिस दीपक वर्मा की सिंगल बेंच ने आरोपी टीचर को जमानत देने से इनकार किया है. जमानत याचिका खारिज होने के बाद आरोपी टीचर पर जेल जाने का खतरा मंडराने लगा है. अदालत ने आरोपी टीचर को आदेश की तारीख से दो सप्ताह के भीतर संबंधित अदालत के समक्ष आत्मसमर्पण करने और नियमित जमानत के लिए आवेदन करने का निर्देश दिया है.
2023 की है शर्मसार कर देने वाली वारदात
बीते साल 2023 में मुजफ्फरनगर के नेहा पब्लिक स्कूल की प्रिंसिपल तृप्ता त्यागी ने क्लास 2 के छात्रों से अपने ही मुस्लिम सहपाठी छात्र को थप्पड़ मारने के लिए कहा था. उसने छात्र के खिलाफ साम्प्रदायिक टिप्पणी भी की थी. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. वायरल वीडियो को लेकर देश भर में आरोपी टीचर के इस कृत्य की निंदा की गई थी. शिक्षा के मंदिर में हुई इस शर्मसार कर देने वाली घटना सुप्रीम कोर्ट में पहुंची थी.