केरल विधानसभा के अंदर सत्तारूढ़ और विपक्षी सदस्यों के बीच बहस के दौरान राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के उपर की गई बयानबाजी पर संगठन ने कानूनी कार्रवाही की चेतावनी दी है. संगठन के केरल प्रांत के कार्यवाहक एन ईश्नरन ने कहा है कि यह निंदनीय है कि बिना किसी आधार के विधानसभा के अंदर जिम्मेदार लोगों ने ऐसी बयानबाजी की.
एन ईश्वरन ने पूछा कि किस आधार पर वे ऐसी गलत बातें बोल रहे हैं. उन्होंने कहा कि संघ नेता इस मामले को लेकर जल्द ही राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान और विधानसभा अध्यक्ष ए.एन. शमशीर से मुलाकात करेंगे.
संघ नेता ने आरोप लगाया कि मंत्री, विधायक और नेता प्रतिपक्ष सहित जिम्मेदार पदों पर बैठे लोग अपने राजनीतिक लाभ के लिए संघ के नाम का अनावश्यक रूप से इस्तेमाल कर रहे हैं. उन्होंने कहा संघ इसकी अनुमति नहीं देता है. संघ के पास ऐसे विवादों में हस्तक्षेप करने का न तो समय है और न ही रुचि है.
तनाव पैदा कर रहें
ईश्वरन ने आरोप लगाया कि राजनीतिक विवादों में संघ का नाम घसीटने का प्रयास दुर्भावनापूर्ण है और ऐसे करने वालो के खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी. उन्होंने आरोप लगाया कि केरल के त्रिशूर पूरम और सबरीमाला तीर्थयात्रा जैसे प्रतिष्ठित उत्सवों में जानबूझकर तनाव और विवाद पैदा करने के लिए ये आरोप लगाए जा रहे हैं.
प्रतिष्ठित त्रिशूर पूरम उत्सव में हुए बवाल को लेकर केरल विधानसभा में बुधवार को तीखी बहस हुई. विपक्षी संयुक्त लोकतांत्रिक मोर्चा ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री पिनराई विजयन की जानकारी में ऐसा हुआ जबकि सत्तारूढ़ वाम लोकतांत्रिक मोर्चा ने विपक्ष के न्यायिक जांच की मांग को खारिज करते हुए कहा कि मामले की व्यापक जांच पहले से जारी है.
क्या था मामला?
त्रिशूर पूरम केरल के त्रिशूर में आयोजित होने वाला एक वार्षिक हिंदू मंदिर उत्सव है. यह हर साल पूरम के दिन त्रिशूर के वडक्कुनाथन मंदिर में आयोजित किया जाता है. कांग्रेस के नेतृत्व वाला यूडीएफ कुछ समय से यह आरोप लगा रहा है कि संघ नेताओं के साथ विजयन द्वारा गुप्त सहमति जताए जाने के बाद, उनकी जानकारी में उत्सव में व्यवधान पैदा किया गया.
विपक्ष ऐसा आरोप लगाया लगा रहा कि त्रिशूर पूरम अनुष्ठानों में कथित तौर पर पुलिस हस्तक्षेप कर रही थी. इसके बाद हुए विवादों ने इस वर्ष अप्रैल में आयोजित वार्षिक उत्सव की चमक को फीका कर दिया था.