कर्नाटक सरकार में मुख्यमंत्री पद को लेकर खींचतान बढ़ती जा रही है। मैसूर ज़िले में शनिवार को हुए एक कार्यक्रम के मंच पर मुख्यमंत्री सिद्धारमैया अपने संबोधन में उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार के नाम के सुझाव से नाराज़ हो गए। मंच पर डीके शिवकुमार भी मौजूद थे लेकिन जब मुख्यमंत्री सिद्धारमैया मंच पर आए, तो उन्होंने गणमान्य व्यक्तियों का परिचय देते समय शिवकुमार का ज़िक्र नहीं किया। जब उनसे पूछा गया, तो अचानक वे नाराज़ हो गए और कहा, “डीके शिवकुमार यहां नहीं हैं, है ना? कृपया बैठ जाइए। आप किस तरह के वकील हैं?” उनके इस तेवर को देखकर लोग चौंक गए कि आखिर उन्हें हुआ क्या है।
डीके शिवकुमार का नाम सुनते ही भड़के सीएम
मुख्यमंत्री ने नाराज़गी ज़ाहिर करते हुए कहा, “डीके शिवकुमार बेंगलुरु वापस चले गए हैं। आपको मंच पर मौजूद लोगों के नाम लेने हैं, न कि उनके नाम जो जा चुके हैं। यही प्रोटोकॉल है कि जो यहां हैं उन्हें बुलाया जाए, न कि घर बैठे लोगों को, आप वकीलों को यह बात समझनी चाहिए।” उनके इस जवाब का एक वीडियो सोशल मीडिया पर भी वायरल हो रहा है।
शिवकुमार और सिद्धारमैया के बीच तनाव जगजाहिर
सीएम सिद्धारमैया की यह प्रतिक्रिया कर्नाटक सरकार के भीतर मुख्यमंत्री पद को लेकर चल रही खींचतान और विपक्षी भाजपा के इस दावे की पृष्ठभूमि में आई है कि शिवकुमार, सिद्धारमैया की जगह ले सकते हैं। हालांकि कांग्रेस आलाकमान ने संकेत दिया है कि कर्नाटक के मुख्यमंत्री को बदलने की उसकी कोई योजना नहीं है। सिद्धारमैया ने अपने इस्तीफे की अटकलों को खारिज कर दिया है, और शिवकुमार ने सार्वजनिक रूप से कहा है कि वह उनका समर्थन करेंगे, लेकिन दोनों के बीच तनाव अक्सर सार्वजनिक कार्यक्रमों में सामने आता रहा है।
चुनाव परिणाम के बाद से चल रहा तनाव
दोनों नेताओं के बीच तनाव 2023 में विधानसभा चुनाव परिणाम आने के बाद से शुरू हुआ है, जिसमें कांग्रेस ने शानदार जीत हासिल की थी। उस समय, कांग्रेस की जीत में उनकी भूमिका के कारण डीके शिवकुमार को शीर्ष पद का प्रबल दावेदार माना जा रहा था। आखिरकार, कांग्रेस नेतृत्व उन्हें उपमुख्यमंत्री और राज्य पार्टी प्रमुख के पदों पर सहमत करने में कामयाब रहा। कुछ रिपोर्टों में तब दावा किया गया था कि बारी-बारी से मुख्यमंत्री पद पर सहमति बन गई है, लेकिन इसकी कभी पुष्टि नहीं हुई।