Harda Factory Explosion: मध्य प्रदेश के हरदा में एक पटाखा फैक्ट्री में मंगलवार को हुए विस्फोट के बाद गुरुवार को एक घर से एक अज्ञात महिला का शव बरामद किया गया, जिससे इस हादसे में मरने वालों की संख्या बढ़ कर 12 हो गयी है. एक अधिकारी ने इसकी जानकारी दी.
200 लोग घायल
अधिकारी ने बताया कि हादसे में सात लोग अब भी लापता हैं. मंगलवार को एक बड़े विस्फोट और उसके बाद लगी आग ने एक पटाखा इकाई को नष्ट कर दिया, जिसमें 11 लोगों की मौत हो गई थी जबकि 200 से अधिक घायल हो गए.
12 हुई मरने वालों की संख्या
हरदा के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (सीएमएचओ) एच पी सिंह ने कहा कि विस्फोट स्थल से सटे एक घर में एक अज्ञात महिला का शव मिलने के बाद इस त्रासदी में मरने वालों की संख्या 12 हो गयी है.
सात लोग लापता
उन्होंने बताया कि 200 से अधिक लोग घायल हुए हैं, जिनमें से 90 को उपचार के बाद छुट्टी दे दी गई, जबकि 45 को भोपाल, इंदौर और नर्मदापुरम के अस्पतालों में भेजा गया है . सिंह ने बताया कि बाकी लोगों का इलाज हरदा जिला अस्पताल में किया जा रहा है. अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट सदानंद गौड़ा ने कहा कि घटना के बाद परिवारों ने सात लोगों के लापता होने की सूचना दी है.
कलेक्टर-एसपी का ट्रांसफर
वहीं इस हरदा ब्लास्ट मामले में मोहन यादव सरकार ने बुधवार को कड़े फैसले लिए. सरकार ने हादसे के बाद हरदा जिले के कलेक्टर ऋषि गर्ग का ट्रांसफर कर दिया. इसके अलावा बुधवार को ही हरदा के पुलिस अधीक्षक को भी हटा दिया गया है. राज्य के गृह विभाग ने कल शाम को हरदा के एसपी संजीव कंचन का तबादला करने का आदेश जारी किए थे. बता दें कि सीएम मोहन यादव ने कल इस मामले को लेकर सख्त एक्शन लेने की बात कही थी.
हरकत में आया प्रशासन
वहीं हरदा के पटाखा गोदाम में भीषण विस्फोट के बाद हरकत में आए इंदौर प्रशासन ने अलग-अलग गड़बड़ियां मिलने पर पटाखों के दो कारखानों समेत विस्फोटक पदार्थों के कारोबार से जुड़े 20 प्रतिष्ठानों को सील कर दिया. जांच दलों में शामिल अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी. अधिकारियों ने बताया कि पिछले 36 घंटे के दौरान जिले भर में पुलिस और प्रशासन की संयुक्त जांच मुहिम के दौरान पटाखों और विस्फोटक पदार्थों के कारोबार से जुड़े 20 प्रतिष्ठानों को सील किया गया.
अधिकारियों के मुताबिक इनमें राऊ क्षेत्र में पटाखे बनाने वाले दो कारखाने शामिल हैं जहां अलग-अलग मानकों का उल्लंघन पाया गया. उन्होंने बताया कि सील किए वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों में से एक पटाखा गोदाम रिहायशी क्षेत्र में था, जबकि अन्य गोदामों में स्वीकृत सीमा से ज्यादा पटाखों का भंडारण पाया गया और वहां सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम भी नहीं थे.