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BJP Candidates List 2024: लोकसभा चुनाव 2024 की तारीखों के ऐलान से पहले बीजेपी ने अपने उम्मीदवारों की पहली लिस्ट जारी कर 195 प्रत्याशियों के नामों का ऐलान किया, लिस्ट में भोजपुरी सितारों को भी जगह मिली

BJP Candidates List 2024: लोकसभा चुनाव 2024 की तारीखों के ऐलान से पहले भारतीय जनता पार्टी ने 2 मार्च, 2024 को अपने उम्मीदवारों की पहली लिस्ट जारी कर दी. बीजेपी के उम्मीदवारों की पहली लिस्ट में 195 प्रत्याशियों के नामों का ऐलान किया गया है. इस लिस्ट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह जैसे कई बड़े नाम शामिल हैं. इसके इतर बीजेपी की कैंडिडेट लिस्ट में भोजपुरी सितारों को भी जगह मिली है.

बीजेपी कैंडिडेट की पहली लिस्ट में मनोज तिवारी, रवि किशन, दिनेश लाल यादव ‘निरहुआ’ और पवन सिंह के नाम शामिल हैं. इस लिस्ट में सबसे चौंकाने वाला नाम पवन सिंह का माना जा रहा है. दरअसल, मनोज तिवारी पहले से ही बीजेपी के सांसद हैं. दिनेश लाल निरहुआ भी आजमगढ़ से बीजेपी सांसद हैं. वहीं, रवि किशन भी गोरखपुर से बीजेपी के मौजूद सांसद हैं.

पश्चिम बंगाल में ‘शत्रु’ को चुनौती दे सकते हैं पवन सिंह
भोजपुरी स्टार पवन सिंह के बीजेपी की टिकट पर लोकसभा चुनाव 2024 लड़ने की अटकलें लंबे समय से चल रही थीं. माना जा रहा था कि पवन सिंह को बिहार की किसी सीट से बीजेपी कैंडिडेट बनाया जा सकता है. हालांकि, बीजेपी ने पूरी तरह से चौंकाते हुए पवन सिंह को बिहार नहीं, पश्चिम बंगाल से उम्मीदवार बनाया है.

पश्चिम बंगाल की आसनसोल लोकसभा सीट से बीजेपी उम्मीदवार बने पवन सिंह यहां पर तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के संभावित प्रत्याशी शत्रुघ्न सिन्हा को टक्कर दे सकते हैं. दरअसल, माना जा रहा है कि टीएमसी इस सीट पर शत्रुघ्न सिन्हा को फिर से उम्मीदवार बना सकती है. इस सीट पर 2019 में बीजेपी के बाबुल सुप्रियो सांसद थे, जो बाद में इस्तीफा देकर टीएमसी में शामिल हो गए थे. इस सीट पर हुए उपचुनाव में टीएमसी ने शत्रुघ्न सिन्हा को टिकट दिया था, जिस पर वो जीतकर संसद पहुंचे थे.

मनोज तिवारी लगातार दो बार से सांसद
उत्तर-पूर्व दिल्ली से बीजेपी के मौजूदा सांसद और भोजपुरी स्टार मनोज तिवारी को फिर से प्रत्याशी बनाया गया है. 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में तिवारी इसी सीट से लगातार दो बार सांसद रह चुके हैं. उत्तर-पूर्व दिल्ली की लोकसभा सीट पर पूर्वांचल और बिहार से आने वाले मतदाताओं की अच्छी खासी संख्या है. 2019 के चुनाव में मनोज तिवारी ने दिल्ली की पूर्व सीएम और कांग्रेस उम्मीदवार शीला दीक्षित को शिकस्त दी थी.

गोरखपुर से पक्का हुआ रवि किशन का टिकट
भोजपुरी फिल्मों के साथ हिंदी फिल्मों में भी अपने अभिनय का लोहा मनवाने वाले सितारे रवि किशन को बीजेपी ने गोरखपुर से उम्मीदवार बनाया है. रवि किशन इस सीट से मौजूदा सांसद हैं. 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी को तीन लाख से ज्यादा वोटों से मात दी थी.

आजमगढ़ में निरहुआ फिर दे सकते हैं अखिलेश यादव को चुनौती
2019 के लोकसभा चुनाव में भोजपुरी स्टार दिनेश लाल यादव निरहुआ को समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मात दी थी. हालांकि, 2022 में इसी सीट पर हुए उपचुनाव में निरहुआ सपा के प्रत्याशी को शिकस्त देते हुए सांसद बने थे. माना जा रहा है कि अखिलेश यादव इसी सीट से फिर चुनाव लड़ सकते हैं, क्योंकि ये मुलायम सिंह यादव की पारंपरिक सीट मानी जाती है. अखिलेश पिता की विरासत पर एक बार फिर से अधिकार स्थापित करने के लिए आजमगढ़ सीट से प्रत्याशी हो सकते हैं.

सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल

सोशल मीडिया पर पवन सिंह के सेलिब्रेशन से जुड़ा एक वीडियो काफी वायरल हो रहा है. यह वीडियो शनिवार को तब रिकॉर्ड किया गया था जब बीजेपी की प्रेस कॉन्फ्रेंस चल रही थी और पवन सिंह उसे मोबाइल पर देख रहे थे. जिस वक्त भारतीय जनता पार्टी की प्रेस कॉन्फ्रेंस चल रही थी, उस वक्त वह जिम में थे और एक्सरसाइज रोककर पीसी देखने लगे थे.

जिम में मौजूद लोगों ने मनाया जश्न

इस वायरल वीडियो में आप देखेंगे कि पवन सिंह बैठकर मोबाइल पर एक न्यूज चैनल देख रहे हैं, जबकि जिम में मौजूद अन्य लोग उनके आसपास खड़े हैं. जैसे ही उनके नाम का ऐलान होता है पवन सिंह के चेहरे पर मुस्कान आ जाती है और उनके पास खड़े सभी लोग जश्न मनाने लगते हैं. इसके बाद लोग आकर उन्हें बधाई देते हैं. लोगों की बधाई लेने के बाद पवन सिंह जिम में ही मौजूद मंदिर के सामने जाते हैं और अपना माथा टेकते हुए भगवान को प्रमाण करते हैं.

शत्रुघ्न सिन्हा से होगा मुकाबाला

पश्चिम बंगाल की आसनसोल लोकसभा सीट काफी चर्चित सीट में से एक है. यहां उनके सामने टीएमसी के शत्रुघ्न सिन्हा होंगे जो इस समय यहां से सांसद हैं. इस सीट पर 2014 और 2019 में बीजेपी का कब्जा था. तब बाबुल सुप्रियो यहां से सांसद थे. 2022 में उन्होंने बीजेपी छोड़कर टीएमसी का हाथ थाम लिया था. विधायक का चुनाव जीतने की वजह से बाबुल सुप्रियो ने सांसद पद से इस्तीफा दे दिया था. इसके बाद हुए उपचुनाव में टीएमसी ने शत्रुघ्न सिन्हा को अपना उम्मीदवार बनाया था. उन्होंने यहां से जीत दर्ज की थी.

बीजेपी ने इन नेताओं को बनाया उम्मीदवार 

उदयपुर संभाग यानी मेवाड़ वागड़ की 4 लोकसभा सीट है और यह चारों लोकसभा राजनीतिक रूप से चर्चा में है. इसके पीछे कारण यह है कि बांसवाड़ा लोकसभा सीट में प्रत्याशी महेंद्रजीत सिंह मालवीय घोषित हुए, जो कांग्रेस के दिग्गज नेता रहे और हाल ही में बीजेपी में शामिल हुए.
वहीं चित्तौड़गढ़ लोकसभा सीट पर सीपी जोशी को प्रत्याशी बनाया जो कि बीजेपी के प्रदेशाध्यक्ष हैं और एक बड़ा चेहरा है. वहीं उदयपुर इसलिए चर्चा में है क्योंकि यहां दो बार से सांसद अर्जुन लाल मीणा का टिकट काटकर सरकारी कर्मचारी परिवहन अधिकारी को टिकट दिया है. वहीं राजसमंद लोकसभा सीट पर पिछली बार दिया कुमारी संसद रही थीं.
इस सीट से मिला मन्ना लाल रावत को टिकट
मन्ना लाल रावत लंबे समय तक परिवहन अधिकारी के पद पर रहे. वह संघ से जुड़े हैं और संघ के जुड़े कार्यक्रम में भी जाते दिखाई दिए हैं. इस कार्यक्रमों में बौद्धिक भाषण भी देते सुनाई दिए हैं.
साथ ही मन्नालाल रावत आदिवासी क्षेत्र में भारत आदिवासी पार्टी और भारतीय ट्राइबल पार्टी से सोशल मीडिया पर शाब्दिक जंग भी करते हुए दिखे गए. माना जा रहा है कि संघ से जुड़े होने के कारण उन्हें यह टिकट मिला. यह घोषणा चौंकाने वाली है.

झालावाड़ में 8 में से 7 सीट बीजेपी के पास
झालावाड़ बारां लोकसभा सीट दो जिलो में आती हैं, जिसमें झालावाड़ और बारां में 4-4 विधानसभा है. इसमें बारां में बीजेपी के पास चारों की चारों विधानसभा सीट है, जबकि झालावाड़ में तीन विधानसभा बीजेपी के पास है. बारां जिले में बारां, छबडा, अंता और किशनगंज विधानसभा आती है, जबकि झालावाड़ में झालरापाटन, खानपुर, मनोहरथाना और डग विधानसभा आती है.

पिछले तीन बार से दुष्यंत सिंह को मिल रही है बड़ी जीत
दुष्यंत सिंह साल 2009 से साल 2019 तक झालावाड़-बारां से सांसद रहे हैं. वह वर्तमान में भी झालावाड़-बारां सीट से सांसद हैं. साल 2009 की बात करें, तो बीजेपी के दुष्यंत सिंह ने मंत्री रहे प्रमोद जैन भाया कि पत्नी उर्मिला जैन को हराया था. बीजेपी को 4,29,096 वोट मिले, जबकि कांग्रेस को 3,76,255 वोट मिले थे और दुष्यंत सिंह 52,841 वोटों से जीत गए थी. बीजेपी को 49.21 प्रतिशत और कांग्रेस को 43.15 प्रतिशत वोट मिले थे.

साल 2014 में बीजेपी के दुष्यंत सिंह को 6,76,102 वोट मिले और कांग्रेस के प्रमोद जैन भाया को 3,94,556 वोट मिले और बीजेपी यहां से 2,81,546 वोटों से जीत गई थी. साल 2019 में भाजपा के दुष्यंत सिंह ने कांग्रेस के प्रमोद शर्मा को 4,53,928 वोटों से हराया. दुष्यंत सिंह को 8,87,400 वोट मिले जबकि कांग्रेस के प्रमोद शर्मा को 4,33,472 वोट मिले. इस तरह झालावाड़-बारां लोकसभा सीट पर एक छत्र बीजेपी का राज चला आ रहा है. हालांकि, कांग्रेस भी यहां पर नाउम्मीद नहीं है, क्योंकि 2009 में कांग्रेस की उर्मिला जैन ने बीजेपी के दुष्यंत सिंह को कड़ी टक्कर दी थी.

किन राज्यों से हैं 195 उम्मीदवार?
BJP की इस Candidate List में उत्तर प्रदेश के 51, मध्य प्रदेश के 24, पश्चिम बंगाल के 20, गुजरात-राजस्थान के 15-15, केरल से 12, असम-झारखंड-छत्तीसगढ़ से 11-11-11, तेलंगाना से 9, दिल्ली से 5, उत्तराखंड से 3, जम्मू कश्मीर-अरुणाचल प्रदेश से 2-2, गोवा-त्रिपुरा-अंडमान निकोबार-दमन एवं द्वीप से 1-1-1-1 प्रत्याशियों का ऐलान किया गया है.

कितने अनुसूचित जाति के उम्मीदवार?
करीमगंज (अजा)(SC) कृपानाथ मल्लाह
जांजगीर-चंपा (अजा)(SC) श्रीमती कमलेश जांगड़े
कच्छ (अजा) (SC) विनोदभाई लखमाशी चावड़ा
अहमदाबाद पश्चिम (अजा)(SC) दिनेशभाई कोडरभाई मकवाना
अल्मोड़ा (अजा) (SC) अजय टम्टा
नगीना (अजा) (SC)  ओम कुमार
बुलन्दशहर (अजा)(SC) डॉ. भोला सिंह
आगरा (अजा) (SC) सत्यपाल सिंह बघेल
शाहजहांपुर (अजा) (SC) अरुण कुमार सागर
मिश्रिख (अजा (SC) अशोक कुमार रावत
हरदोई (अजा) (SC) जय प्रकाश रावत
मोहनलालगंज (अजा)(SC) कौशल किशोर
इटावा (अजा)(SC) डॉ. राम शंकर कठेरिया
जालौन (अजा)(SC) भानु प्रताप सिंह वर्मा
बाराबंकी (अजा)(SC) उपेन्द्र सिंह रावत
बांसगांव (अजा)(SC) कमलेश पासवान
लालगंज (अजा)(SC) नीलम सोनकर
कूच बिहार (अजा)(SC) निशिथ प्रमाणिक
राणाघाट (अजा)(SC) जगन्नाथ सरकार
बनगांव (अजा)(SC) शांतनु ठाकुर
जॉयनगर (अजा)(SC) डॉ. अशोक कंडारी
बिष्णुपुर (अजा)(SC) सौमित्र खान
बोलपुर (अजा)(SC)प्रिया साहा
पलामू (अजा)(SC) विष्णु दयाल राम
भिंड (अजा)(SC) श्रीमती संध्या राय
टीकमगढ़ (अजा)(SC) श्रीमती लता वानखेड़े
देवास (अजा)(SC) महेंद्र सिंह सोलंकी
बीकानेर (अजा)(SC) अर्जुन राम मेघवाल
भरतपुर (अजा)(SC) रामस्वरूप कोली
नगरकुर्नूल (अजा)(SC) पी. भरत

कितने अनुसूचित जनजाति के प्रत्याशी?
ऑटोनोमस जिला (अजजा) (ST) अमर सिंग तिस्सो
सरगुजा (अजजा)(ST) चिंतामणि महाराज
रायगढ़ (अजजा) (ST) राधेश्याम राठिया
बस्तर (अजजा) (ST) महेश कश्यप
कांकेर (अजजा) (ST) भोजराज नाग
दाहोद (अजजा) (ST) जसवन्तसिंह भाभोर
बारडोली (अजजा) (ST) प्रभुभाई नागरभाई वसावा
अलीपुरद्वार (अजजा)(ST) मनोज तिग्गा
राजमहल (अजजा)(ST) ताला मरांडी
दुमका (अजजा)(ST) सुनील सोरेन
सिंहभूम (अजजा)(ST) गीता कोड़ा
खूंटी (अजजा)(ST) अर्जुन मुंडा
लोहारदगा (अजजा)(ST) समीर उरांव
शहडोल (अजजा)(ST) श्रीमती हिमाद्री सिंह
मंडला (अजजा)(ST) फग्ग्गन सिंह कुलस्ते
रतलाम (अजजा)(ST) श्रीमती अनिता नागर सिंह चौहान
खरगोन (अजजा)(ST) गजेन्द्र पटेल
बैतूल (अजजा)(ST) दुर्गा दास उड़के
उदयपुर (अजजा)(ST) मन्नालाल रावत
बांसवाड़ा (अजजा)(ST) महेंद्र मालवीय

कितने क्रिश्चिएन उम्मीदवार?
बीजेपी के उम्मीदवारों की पहली लिस्ट में इकलौते क्रिश्चिएन प्रत्याशी अनिल के एंटनी हैं. बीजेपी ने अनिल एंटनी को केरल की पत्तनमतिट्टा लोकसभा सीट से चुनावी मैदान में उतारा है.

कितने मुस्लिम प्रत्याशी?
बीजेपी के प्रत्याशियों की लिस्ट में आमतौर पर मुस्लिम उम्मीदवार नदारद ही रहते हैं. हालांकि, इस बार बीजेपी ने चौंकाते हुए केरल की मलप्पुरम लोकसभा सीट से डॉ. अब्दुल सलाम को उम्मीदवार बनाया है. वो बीजेपी की पहली लिस्ट में इकलौते मुस्लिम उम्मीदवार हैं.

कितनी महिलाएं बनीं बीजेपी की उम्मीदवार? 
इस लिस्ट में कुल 28 महिलाओं को प्रत्याशी बनाया गया है. जो 195 घोषित उम्मीदवारों का 14 फीसदी हैं. महिला उम्मीदवारों की इस लिस्ट में कई बड़े और चर्चित चेहरे हैं. इसी के साथ कुछ नए चेहरे भी इस लिस्ट में शामिल हैं. पूर्व केंद्रीय मंत्री सुषमा स्वराज की बेटी बांसुरी स्वराज को बीजेपी ने टिकट दिया है. वहीं, छत्तीसगढ़ के जांजगीर चांपा से पूर्व सरपंच कमलेश जांगड़े को लोकसभा उम्मीदवार बनाया है. इस लिस्ट में स्मृति ईरानी, हेमा मालिनी, सरोज पांडे, रूप कुमारी चौधरी,कमलजीत सहरावत और पूनमबेन माडम के नाम भी शामिल हैं. इस लिस्ट में शामिल कई महिलाओं को बीजेपी ने आरक्षित सीटों पर भी प्रत्याशी बनाया है.

युवा नेताओं पर बीजेपी को कितना भरोसा?
बीजेपी की इस लिस्ट में युवा नेताओं की बात करें तो 195 उम्मीदवारों में से 47 उम्मीदवार युवा यानी 50 साल से कम उम्र के हैं.

दिल्ली के अलावा नहीं दिखे लिस्ट में बड़े बदलाव
राजनीतिक पंडितों का मानें तो बीजेपी ने दिल्ली को छोड़कर अन्य किसी में बहुत बड़े बदलाव नहीं किए हैं. विवादित बयानों में घिरे रहने वाले सांसदों (प्रज्ञा सिंह ठाकुर और मीनाक्षी लेखी) में से कुछ का टिकट कटा है, लेकिन ये व्यापक स्तर पर नहीं हुआ है. आसान शब्दों में कहा जाए तो बीजेपी आलाकमान ने जिताऊ उम्मीदवारों पर ही दांव लगाया है.

किन नए चेहरों को मिला यूपी से मौका?
अगर यूपी की कैंडिडेट लिस्ट में सामने आए चार नए चेहरों की बात करें तो इन सीटों पर बीजेपी को 2019 में हार का मुंह देखना पड़ा था. सियासी जानकारों का मानना है कि इसके चलते ही बीजेपी ने नए चेहरों को मौका दिया है.

जौनपुर से कृपाशंकर सिंह, अंबेडकर नगर से रितेश पांडे, श्रावस्ती से नरेंद्र मिश्रा के बेटे साकेत मिश्रा और नगीना से ओम कुमार को उम्मीदवार बनाया गया है. यूपी की 80 लोकसभा सीटों में से बीजेपी कुछ सीटें सहयोगी दलों को भी देगी. इस स्थिति में यूपी की अगली लिस्ट चौंकाने वाली हो सकती है.

 

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